ऐ खुदा,शायद तेरी चौखट
पर जन्मों से इंतजार
किया है
जो खुद से भी बढ़कर दोस्तों ने
हमें प्यार दिया है
कभी जो खली अपनों की कमी
कभी जो उतरीं आँखों में नमी
दोस्तों ने अपने इष्क से सराबोर किया है
ना कभी की वफाओं से हरकत
ना कभी रखा उम्मीदों का बोझ
जब भी मिले सिर्फ खुशियों का दीदार हुआ है
जो ठहराए गये मुजरिम हम
अपनों के ही अंजुमन में
वो दोस्त ही थे जनाब जिन्होंने ऐतबार किया है
जो बैठें कभी यादों के संग
गहराये कभी जो अतित के रंग
इजहार ए मोहब्बत दोस्तों
के रब का मतलब तुमने समझाया है
खूप छान प्रेरणा ताई
ReplyDeleteThank you so much
ReplyDeleteKhup sundar 👍❤
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